उसका वजन करीब 130 किग्रा था। पोस्टमार्टम करने वाले डा. जयदीप जमींदार ने बताया कि छात्र की ऊंचाई 5.10 फीट थी। मौत कार्डियक अरेस्ट के कारण हुई।
दिल का साइज भी सामान्य से एक चौथाई बढ़ा हुआ था। तीनों धमनियों में ब्लाकेज भी थे, लेकिन इसके बारे में परिवार में किसी को जानकारी नहीं थी। हो सकता है कि उसे ब्लाकेज होने के लक्षण पूर्व में महसूस हुए होंगे, लेकिन उसने परिवार में कभी चर्चा नहीं की होगी। इसे सामान्य समझ लिया होगा। स्वजन ने बताया था कि ऋषि दोपहर तीन बजे नहाने के लिए गया था। बाथरूम का दरवाजा तोड़ा तो बेसुध मिला। इसके बाद अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया था।
परिवार को नहीं पता था ब्लाकेज के बारे में
स्वजन ने बताया था कि ऋषि को पहले से बीमारी नहीं थी। वह स्वस्थ था और उपचार भी नहीं चल रहा था। उसका वजन बढ़ा हुआ था। परिवार को ब्लाकेज के संबंध में कोई जानकारी ही नहीं थी, क्योंकि जांच नहीं करवाई थी।
मोटापे के कारण बढ़ती है कार्डियक अरेस्ट का खतरा
विशेषज्ञों के मुताबिक अत्यधिक मोटापे के कारण दिल पर ज्यादा दबाव पड़ता है। दिल की नसों में ब्लाकेज कम उम्र में भी हो सकता है। मोटापे के कारण कार्डियक अरेस्ट का खतरा भी रहता है। इसलिए वजन पर नियंत्रण जरूरी है। बच्चों को हमें जंकफूड से दूर रखना चाहिए। उन्हें घर पर बना पौष्टिक आहार ही खिलाना चाहिए। उच्च रक्तचाप, मधुमेह, दिल की जन्मजात बीमारी, शारीरिक गतिविधि की कमी, नींद की कमी के कारण भी दिल की बीमारियां बढ़ रही हैं।
• धमनियों में ब्लाकेज के लक्षण
सीने में दर्द या दबाव महसूस होना
थोड़ा चलने पर जल्दी थक जाना
सांस फूलना
दिल की धड़कन तेज या अनियमित होना
हाथ, पैर या जबड़े में दर्द
चक्कर आना या कमजोरी
• कार्डियक अरेस्ट के लक्षण
व्यक्ति का अचानक बेहोश होना
सांस रुक जाना या बहुत धीमी हो जाना
पल्स महसूस न होना
शरीर ढीला पड़ जाना
आंखों की पुतलियां स्थिर हो जाना
बिना इलाज के कुछ ही मिनटों में जान का खतरा
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